View:46
प्रेम सम्बन्ध आज के आधुनिक युग का अहम् हिस्सा बन चूका है। आज के युग की तकनीकी उपलब्धता, विचारों का खुलापन, आधुनिक लाइफस्टाइल, पाश्चात्य संस्कृति का बोलबाला, युवाओं व युवतियों के विद्यालों, कॉलेजों व कार्य स्थलों पर नज़दीकी सम्बन्ध आदि सभी प्रेम संबंधों को बढ़ावा देते हैं।
By: AIFAS
05-Mar-2022
View:137
You always look for new generous ways to appreciate the qualities of your partner and also expect the same in return. But not every time things work in a desired manner and the situations make us gain unique knowledge about our behavior and unique character.
22-Apr-2022
View:218
A successful life depends hugely on good education! It is the prime most subject of concern for almost all the parents.
06-Apr-2022
View:7152
ज्योतिष द्वारा व्यवसाय का निर्धारण करना व जातक किस व्यवसाय से धन अर्जित करेगा इसके लिए ज्योतिष के विभिन्न सिद्धांतों व नियमों को ध्यान में रखकर निर्णय लिया जाता है जो देश, काल, परिस्थिति व पात्र पर निर्भर करता है।
By: यशकरन शर्मा
15-Nov-2014
View:4805
वर्तमान समय में हर विद्यार्थी इंजीनियर बनना चाहता है तथा उसके माता-पिता भी यही चाहते है की उनका पुत्र-पुत्री इंजीनियर बनके उनका नाम रोशन करें। परन्तु सभी विद्यार्थी इस क्षेत्र में सफल नहीं हो पाते है।
By: भावेश जोशी
01-Jan-2014
View:9970
साधारणतः दशम भाव (या तो लग्न से या चंद्र से जो भी बलवान हो) और उसके स्वामी, दशम भाव में स्थित ग्रहांे से, जन्मपत्री के प्रधान ग्रह, और नवांष में दशमेश की स्थिति से कैरियर के बारे में ज्ञान प्राप्त किया जा सकता है।
By: फ्यूचर पाॅइन्ट
View:3145
प्रश्न: ऐसे कौन से ज्योतिषीय योग हैं, जिसके कारण जातक का कार्यक्षेत्र अपने अध्ययन क्षेत्र से अलग हो जाता है? उदाहरण सहित स्पष्ट करें।
View:3421
वैवाहिक सुख व कार्य-व्यवसाय के बारे में ज्योतिष द्वारा विश्लेषण करने की विस्तृत विधि: वैवाहिक सुख का विचार सामान्यतः सप्तम व कार्य-व्यवसाय का विचार दशम भाव से किया जाता है। कार्य-व्यवसाय अर्थात् जातक आजीविका में व्यापार करेगा या नौकरी। यह भी दशम भाव, स्वामी, कारक तथा इसमें स्थित ग्रह तथा इन सब पर दृष्टि डालने वाले ग्रहों पर निर्धारित होता है।
15-Jan-2017
View:6890
करियर परिचर्चा लेख शृंखला की इस कड़ी में ‘‘अच्छे वकील बनने के योग’’ विषय पर चर्चा की जा रही है जिससे आप यह जान सकेंगे कि किस प्रकार के ग्रह योग जातक को श्रेष्ठ वकील बना सकते हैं। जो लोग ज्योतिष नहीं जानते वे जान सकेंगे कि व्यक्ति स्वयं कुछ नहीं करता अपितु ग्रह योग ही उसे एक विशेष दिशा की ओर अग्रसर कर देते हैं व जो ज्योतिष सीख रहे हैं वे विभिन्न ग्रहयोगों के बारे में ज्ञान प्राप्त कर सकेंगे और जो ज्योतिष जानते हैं उनके लिए यह आलेख एक पुनराभ्यास का कार्य करेगा।
View:10182
चंगेज खान महापराक्रमी एवं अजेय योद्धा के रूप में विष्वविख्यात है। कौन से ग्रह योग ने चंगेज खान को इतना तेजस्वी योद्धा बनाया इसका अध्ययन करने हेतु प्रस्तुत है इनकी जन्मपत्री का संक्षिप्त विष्लेषण
View:8687
इंजीनियरिंग में सफलता के लिए शनि मंगल, सूर्य आदि कारक ग्रहों का लग्न, चतुर्थ, पंचम, सप्तम, नवम व दषम भाव और इन भावों के स्वामी के साथ संबंध होना अति आवष्यक है।
By: रश्मि चैधरी
View:13397
आजीविका चयन का ज्योतिष में प्राचीन और सर्वमान्य नियम यह है की कर्मेश / दशमेश जिस ग्रह के नवांश घर में हो उस ग्रह के गुण धर्म के अनुसार व्यक्ति की आजीविका होगी। इसके अतिरिक्त ज्योतिष ग्रंथों और वृहत संहिता खंड एक के अनुसार १५ में उल्लेख के अनुसार जन्म नक्षत्र और कर्म नक्षत्र के अनुसार आजीविका, व्यापार या सर्विस चुनने में सफलता जल्दी मिलती हैं।
By: बी.एल शर्मा
View:14797
धर्म, अर्थ, काम व मोक्ष मानव जीवन के मुख्य लक्ष्य कहे गए हैं। हर व्यक्ति इन लक्ष्यों की प्राप्ति हेतु यथासंभव प्रयास करता है। लक्ष्यों की प्राप्ति हेतु शास्त्रों में विभिन्न ज्योतिषीय सामग्रियों के उपयोग का उल्लेख है, जिनमें रुद्राक्ष का स्थान प्रमुख है। रुद्राक्ष भगवान शिव का अंश है और शिव संहारक हैं, तो कल्याणकारी भी। रुद्राक्ष में भगवान का कल्याणकारी रूप समाहित है। यही कारण है कि इसमें कष्टों से मुक्ति का सामथ्र्य है। रुद्राक्ष धारण से जहां शारीरिक और मानसिक रोगों से मुक्ति मिलती है, वहीं विभिन्न रुद्राक्ष विभिन्न कार्यों के संपादन और लक्ष्यों की प्राप्ति में सहायक होते हैं।
By: रंजू नारंग
View:3203
देश की राजनीति हो या घर की राजनीति प्रत्येक राजनीति में महिलाओं का प्रत्यक्ष अथवा परोक्ष रूप से विशेष योगदान रहता है।
By: तन्वी बंसल
View:25826
वर्तमान समय में शुद्ध एवं दोषमुक्त रत्न बहुत कीमती हो चले हैं, जिससे वे जनसाधारण की पहुंच से बाहर है। अतः विकल्प के रूप में रूद्राक्ष धारण एक सरल एवं सस्ता उपाय है। ग्रह राशि नक्षत्र के अनुसार रूद्राक्ष धारण का संक्षिप्त विवरण यहां प्रस्तुत है।
By: नवीन चित्तलांगिया